Friday, July 25, 2008

चार पत्नियाँ

पुराने समय की बात है! एक व्यापारी की चार पत्नियाँ थी! वह चौथी पत्नी से सबसे ज्यादा प्रेम करता था! उसे सुंदर गहने देता और रोज उसके लिए स्वादिष्ट भोजन का प्रबंध करता! व्यापारी को अपनी तीसरी पत्नी से भी बेहद लगाव था! जब वह उसके साथ बाहर निकलती तो उसे बड़ा गर्व होता, हालाँकि उसे यह भी डर सताता था कि कहीं वह किसी और के साथ ना चली जाए! व्यापारी की दूसरी पत्नी उससे बेहद लगाव रखती थी! व्यापारी भी उसे चाहता था और जब भी कोई समस्या होती, तो वह उसी से सलाह मशविरा करता ! उसकी चौथी पत्नी उसके प्रति पूरी तरह से वफादार थी! वह उसका पूरा ख्याल रखती थी, लेकिन व्यापारी को उसकी परवाह ना थी! न ही कभी वह उसके गहरे प्यार को समझ पाया!
बहरहाल, एक बार व्यापारी बहुत बीमार पड़ गया! ऐसा पड़ा कि बिस्तर से ना उठ सका! जब उसे पता चला कि उसका अंत समय निकट आ गया है, तो उसे बड़ी हताशा हुई! उसने सोचा कि चार-चार पत्नियाँ होते हुए उसे अपनी अन्तिम यात्रा पर अकेले जाना पड़ रहा है! सो, उसने अपनी सबसे प्रिय चौथी पत्नी को बुलाया और उसे अपने साथ ले जाने की इच्छा जताई! पत्नी ने तपाक से कहा 'नही' और बाहर निकल गई! व्यापारी का दिल ही टूट गया! उसने तीसरी पत्नी से भी वही बात कही, तो उसने ना सिर्फ़ साफ़ इन्स्कार कर दिया, बल्कि यह भी कह दिया कि व्यापारी कि मौत के बाद वह किसी और से शादी कर लेगी! दूसरी पत्नी का जवाब था कि वह श्मशान घाट तक ही उसका साथ दे सकती है! अब व्यापारी ने पहली पत्नी को बुलाया! वह बहुत कमजोर नजर आ रही थी! लगता था कि उसे खाने को बहुत कम मिलता है! उसने जब पति की इच्छा सुनी, तो सहर्ष जवाब दिया कि मैं हमेशा आपके साथ चलूंगी, चाहे आप जहाँ भी रहे! उसकी बात सुनकर व्यापारी ने संतोष के साथ आँखे मूँद ली!

सबक के बगैर कहानी अधूरी रहेगी !
दरअसल, उस व्यापारी की तरह हम सभी की चार पत्नियाँ है! चौथी पत्नी हमारा शरीर है, जिसे हम खिलाते-पिलाते और सजाते-संवारते है, पर मौत के साथ ही उसका साथ भी छूट जाता है! तीसरी पत्नी हमारी धन-संपत्ति है, जो हमारे बाद किसी और की हो जानी है! दूसरी पत्नी यानी हमारे परिजन, जो हमसे लगाव तो रखते है, पर उनका साथ श्मशान तक ही रहता है! पहली पत्नी है हमारी अच्छाईयां, जो मौत के बाद ही हमसे जुड़ी रहती है! लेकिन खेद की बात है कि हम जीते जी अपनी अच्छाई पर बिल्कुल ध्यान नही देते और भौतिक सुख-सुविधाओ के लिए ही लगे रहते है!

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